ATMADHARMA Regd No. B, 4787
६७ पारेख नानालाल देवकरण राजकोट ६७ लीलावंतीबहेन नरशी देवशी नाईरोबी
६७ दयाकुमारी चुनीलाल महेता दिल्ही ६७ शांताबहेन वेलजी धरमशी ,,
६७ देसाई प्राणलाल भाईचंद जेतपुर ६७ शाह कचरा नरशी ,,
६७ रामजी देवराज तथा तेमना पत्नी नाईरोबी ६७,, मुळजी धरमशी ,,
पानीबेन ६७,, जेठालाल देवराज ,,
६७ शाह फुलचंद करमशी नाईरोबी ६७,, भारमल वाघजी ,,
६७ शाह लखमीचंद केशवजी नाईरोबी ६७,, मेघजी वाघजी ,,
६७ शाह झवेरचंद पुनमचंद नाईरोबी ६७,, अमृतलाल वाघजी ,,
६७ शांताबहेन (धरमशीभाईना पुत्री) नाईरोबी ६७,, वेरशी हेमराज ,,
६७ जयंतिलाल बेचरदास दोशी सावरकुंडला ६७,, देवशी नथु ,,
६७ गोपाणी हरगोविंद उजमशी बोटाद ६७,, वेलजी भीमजी ,,
६७ एक मुमुक्षुबेन हा. पू. बेनश्रीबेन जमशेदपुर ६७,, वेलजी मगनना मातुश्री वेनुबेन ,,
६७ वीरचंद एन्ड कंपनी नाईरोबी २६०–रूा. ६७ थी नीचेनी रकमो (चंपकलाल मोहन–
६७ शेठ जगजीवन लखमीचंद वढवाण लाल, त्रंबकलाल जगजीवन, कस्तुरबहेन, दुधीबहेन पर–
६७ डोकटर वीरचंद लवचंद दोशी जामनगर माणंद, गीरजाबेन, नागरदास, नगीनदास वीरचंद, हिंमत–
६७ देवकुंवरबहेन फुलचंद करमशी नाईरोबी लाल उजमशी, हिंमतलाल वसंतलाल, छबलबहेन गांधी,
६७ गंगाबहेन फुलचंद करमशी ,, लालजीभाई, गुणवंतराय गोसलीया)
६७ शांताबहेन लखमीचंद केशवजी ,, ८७८५७–अंके सत्ताशी हजार आठसो सत्तावन रूपिया
६७ गंगाबहेन वेलजी भीमजी ,, ने त्रण आना (अषाड वदी २ सुधी)
सम्यक्त्व माटे कोनुं शरण
सम्यक्त्व सन्मुख जीवने हजी पोताना भूतार्थस्वभावना आश्रये निर्विकल्प
वेदन प्रगट्युं नथी त्यां, ‘अहो! आ मारो आत्मा एकाकार ज्ञायकस्वरूप छुं’ एवा
बहुमाननो विकल्प तेने ऊठे छे, पण ते विकल्पनुं शरण नथी, शरणुं तो भूतार्थ–
स्वभावनुं ज छे, ने तेना ज शरणे सम्यग्दर्शन थाय छे. जो विकल्पने शरणरूप
माने तो तेना अवलंबनथी खसीने भूतार्थस्वभावमां केम आवे? ने तेने
सम्यग्दर्शन क्यांथी थाय?...माटे विकल्पनुं शरण नथी...स्वभावनुं ज शरण छे.
सम्यग्दर्शन पछी पण ज्ञानीने विकल्प आवे पण ज्ञानी तेनुं शरण नथी लेता.
(स. गा. १३ उपरनां प्रवचनमांथी)
मुद्रक:– जमनादास माणेकचंद रवाणी, अनेकान्त मुद्रणालय: वल्ल्भविद्यानगर, (गुजरात)
प्रकाशक:– श्री जैन स्वाध्याय मंदिर ट्रस्ट वती जमनादास माणेकचंद रवाणी, वल्लभविद्यानगर, (गुजरात)