Atmadharma magazine - Ank 181
(Year 16 - Vir Nirvana Samvat 2485, A.D. 1959)
(Devanagari transliteration).

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वर्ष १६ मुं
अंक १ लो
कारतक
वी. सं. २४८प
ः संपादकः
रामजी माणेकचंद शाह
१८१
बेसता वर्षना आशीर्वाद
आ बेसता वर्षनी शरूआतमां, सुखे करीने
तीर्थनी शरूआत करवानी वात आवी छे. लोकोमां
बेसता वर्षे आशीर्वाद आपे छे के नवुं वर्ष तमने
सुखरूप नीवडो......अहीं आचार्य भगवान अने ज्ञानी
संतो बेसता वर्षे अलौकिक आशीर्वाद आपे छे के तमे
सुखे करीने तीर्थनी शरूआत करो....कई रीते? के
निश्चय–व्यवहारनी संधिपूर्वक अंर्तस्वभावनी
आराधनाथी.
–विशेष माटे आ अंकमां
छपायेलुं प्रवचन वांचो.