Sattasvarup-Gujarati (Devanagari transliteration).

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सर्वज्ञ सत्तास्वरूप ][ ६३
जैनाभासोमां वा अन्य पण जेटला मतो छे तेमां एवा
सर्वज्ञदेव कया मतमां होय छे? एवो सत्य स्थाननिर्णय
करवो ते स्थाननिर्णय छे.
४. एवा सत्यदेवने सेवन करवाथी कया फळनी प्राप्ति
थशे? तेनो निर्णय करवो ते फळनिश्चय छे.
५. वळी एवा देवनो निश्चय कई जातिना ज्ञानथी थशे?
तेनो निर्णय करवो ते प्रमाणनिश्चय छे.
६. तथा भगवाननां एकहजार आठ नाम छे ते कया
नयनी विवक्षाथी कह्यां छे? तेनो निश्चय करवो ते नयनिश्चय छे.
७. भावनानी अपेक्षा करीए के तेमनी प्रतिमानां दर्शन
आदि शा माटे करवामां आवे छेक्या प्रयोजनथी करवामां
आवे छे? तेनो निश्चय करवो ते (निक्षेप) संस्थापनानिश्चय
छे.
८. प्रथमानुयोग, करणानुयोग, चरणानुयोग अने
द्रव्यानुयोगनुं स्वरूप क्यां क्यां रह्युं छे? तेनो निश्चय करवो ते
अनुयोगनिश्चय छे.
९. मूळ भावोथी प्रतिमाजीनो आकार नानोमोटो शा
माटे होय छे? तेनो निश्चय करवो ते आकारनिश्चय छे तथाः
१०. मूळ भावोनी अपेक्षाए प्रतिमाजीनो वर्ण अने
अनेक प्रकारनी काय केवी होय छे? तेनो विचार करवो ते
वर्णनिश्चय छे.