नथी, पूर्ण आनंद अने ज्ञानस्वरूपे आप अमारा ज्ञानमां
वर्ती ज रह्या छो.. अने अमारुं आ ज्ञान आपना उपर मीट
ज रह्युं छे..... क्षणे क्षणे विरह तूटतो जाय छे, अंतर ओछुं
थतुं जाय छे.
ज रह्यो छे.... अहा! केवो सुंदर छे आपनो मार्ग! केवा सुंदर
छे आपना मार्गे चालनारा जीवो! प्रभो! आपना आ मार्गे
चालतां अमने आनंद थाय छे. अने एम थाय छे के वाह
देव! आप तो साधकना हृदयमां सदा बिराजमान छो......
आप खरेखर साधकना भगवान छो..... अमारा भगवान
छो...... नमस्कार छे आपने.... अने आपना मार्गने....
अमेय आनंदथी ए मार्गे आवी रह्या छीए.